Fallopian tube Treatment in hindi

 

ब्‍लॉक हो गई है फैलोपियन ट्यूब, टेंशन न लें, इस तरीके से अब भी बन सकती हैं मां

प्रेगनेंसी की पूरी प्रक्रिया को पूर्ण होने के लिए फैलोपियन ट्यूब का सही होना बहुत ही जरुरी होता है। क्योंकि  फैलोपियन ट्यूब के बिना नेचुरली तरीके से बच्चा कंसीव करना असंभव हो जाता है। इसलिए नार्मल प्रेगनेंसी के लिए ट्यूब का स्वस्थ होना अनिवार्य होता है। Fallopian tube प्रजनन तंत्र में  एक ऐसी जगह होती है । जहां पर Egg Fertilize होता है और भ्रूण बनने के process को आगे बढ़ाता है।


परंतु अब परेशानी जैसी कोई बात नही है। (Ayurvedic Doctor chanchal sharma) आयुर्वेद की पंचकर्मा पद्धति एवं थेरपी के द्वारा फैलोपियन ट्यूब से जुड़े संक्रमण और सर्जरी के दौरान बने निशानों को ठीक किया जाता है। विश्वभर में 40 प्रतिशत महिलाओं को Fallopian Tube की जुड़ी बाधाओं का सामना करना पड़ता है। और ऐसे में ट्यूब की वजह से वह निःसंतानता (इनफर्टिलिटी) का शिकार हो जाती है। 

यदि 20 महिलाओं को निःसंतानता (infertility Problem) है। तो उनमें से 10-12 महिलाओं को ट्यूबल ब्लॉकेज से जुड़ी समस्याएं होती है। 

महिलाओं के प्रजनन तंत्र में कैसे काम करती है फैलोपियन ट्यूब ? – Fallopian Tube in Hindi

प्रत्येक महिला मासिक धर्म के बाद एक अंडा रिलीज करती है। जो अंडाशय से होकर फैलोपियन ट्यूब में चला जाता है। यदि ट्यूब में पहले से कोई शुक्राणु (स्पर्म) है । तो उसके साथ fertilize करके fallopian tube के मार्ग से होते हुए सीधे गर्भाशय का रास्ता तय कर लेता है। यह पूरी प्रक्रिया Fallopian Tube में ही होती है। 

गर्भाशय में शिशु का विकार होता है। तो आप समझ गये होगे। कि कैसे fallopian tube कंसीव करने में मदद करती है। यही फैलोपियन ट्यूब का मुख्य कार्य होता है। नेचुरल प्रेगनेंसी के लिए Fallopian tube के बिना गर्भधारण करना असंभव हो जाता है।

महिलाओं की यदि एक ट्यूब खुली है तो कितने प्रतिशत प्रेगनेंसी के चांस होते है ?

Fertility जगत से जुड़े विशेषज्ञों की राय है । कि किसी महिला की एक ट्यूब खुली है और दूसरी ट्यूब बंद है। तो ऐसी स्थिति में गर्भधारण की संभावना 50 प्रतिशत तक होती है। ऐसे में गर्भधारण की संभावना की कमी की वजह होती है।

 कि फैलोपियन ट्यूब का एक रास्ता पूरी तरह से ब्लॉक हो जाता है। जिससे प्रेगनेंसी की संभावना भी आधी हो जाती है। आयुर्वेदिक दवाओं एवं हर्बल औषधियों के सहारे एक ट्यूब में भी महिलाएं कंसीव कर सकती है।

क्या कारण होते है जिसके चलते महिलाओं की फैलोपियन ट्यूब बंद हो जाती है ?

आयुर्वेद में पेल्विक संक्रमण को ट्यूब बंद होने का प्रमुख कारण माना जाता है। इस प्रकार के संक्रमण  ज्यादातर टीबी, सर्जरी, यौन रोग, आनुवांशिकता की वजह से होते है। 

  1. पीआईडी (Pelvic inflammatory disease) – यह संक्रमण मुख्य रुप से महिलाओं के गर्भाशय एवं फैलोपियन ट्यूब में होता है। जिससे सबसे ज्यादा महिलाओं की फर्टिलिटी प्रभावित होती है। 
  2. पेल्विक टीबी – वैसे से तो टीबी की बीमारी को फेफड़ों की बीमारी कहा जाता है। परंतु यदि किसी कारण आपने लापरवाही की है। और इस टीबी का इलाज आपने समय पर नही किया है। तो यही टीबी गर्भाशय की टीबी बनकर आपके प्रजनन तंत्र को प्रभावित कर देगी । इससे महिलाओं के अंदर बच्चे पैदा करने की क्षमता में कमी आ जाती है। और महिलाएं निःसंतानता की चपेट मैें आ जाती है। 
  3. पेल्विक एरिया की सर्जरी भी ट्यूब बंद होने की एक बड़ी वजह हो सकती है। क्योंकि सर्जरी के बाद उस हिस्से में कुछ निशान (स्कार टिश्यू) बन जाते है। जो सही से अंडे और शुक्राणुओं के मिलन में बाधा बनते है। और जिससे फर्टिलाइजेशन पूरा नही हो पाता है। ऐसे में महिलाएं इनफर्टिलिटी का शिकार हो जाती है। 
  4. गर्भपात के कारण या फिर पहली प्रेगनेंसी के बाद भी अक्सर महिलाओं की ट्यूब बंद हो जाती है। जिससे उनको कंसीव करने में दिक्कत आने लगती है। 

(Read More – फैलोपियन ट्यूब रुकावट: जांच और उपचार – Tubal Blockage Treatment in Ayurveda)

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